हॉट Xxx सेक्स कहानी में दो शादीशुदा लड़कियों की जवानी का नंगा खेल है. दोनों के पति उनको चुदाई का मजा नहीं ड़े पाते तो उन्होंने गैर मर्दों के लंड लेने शुरू किये.
हैलो फ्रेंड्स, मैं विराज.
पिछले भाग
प्राइवेट सेक्रेटरी पोर्न स्टार की तरह चुदी
में अब तक आपने पढ़ा कि मैं और पाटिल जी मिलकर, रेशमा और किरण की नंगी जवानी के साथ खेल रहे थे.
अब आगे हॉट Xxx सेक्स कहानी:
कुछ देर तक तो मैं किरण की हालत पर बिना तरस खाए पूरी ताकत से लंड उसके गले तक घुसाकर उसका मुँह चोदता रहा.
मैं- आ जा रेशमा रंडी की अम्मी जान, अब तेरी इस पाकीज़ा गांड की बारी मेरे लौड़े की सेवा करने की है. झुक जा मादरचोद फिर से … साली दो कौड़ी की रांड.
मेरे इशारे को समझते हुए किरण झट से कुतिया की तरह झुक गयी, अपना मुँह बिस्तर पर दबा कर रखते हुए उसने अपनी गांड ऊपर उठाए रखी ताकि मुझे लौड़ा घुसाने में आसानी हो सके.
मैंने भी अपने एक हाथ से लंड पकड़ा और दूसरे हाथ से किरण की कमर को थाम लिया.
रेशमा की तरफ देख कर मैंने उसे किरण की गांड की तरफ आने को कहा.
मैं- आ जा सलमान भड़वे की बीवी, खोल अपनी अम्मीजान की गांड मादरचोद, देख कैसे अब तेरा मालिक तेरे अम्मी जान की पाकीज़ा गांड की मां चोदेगा.
रेशमा ने अपने दोनों हाथों से किरण के चूतड़ फ़ैला दिए.
किरण की गांड का छेद अब बिल्कुल रेशमा के सामने था, तो मैंने दूसरे हाथ से रेशमा का मुँह उस छेद पर दबा दिया. रेशमा को बिना बताये पता चल गया कि उसे क्या करना है.
अपनी जुबान बाहर निकाल कर वो सप्लरर्र सप्लरर्र करते हुए किरण की गांड के छेद को अपने थूक से गीला करने लगी.
गांड चटवाने में कितना मजा आता है, ये तो वही जानता है, जिसने किसी से गांड चटवाई हो. वो औरत हो या मर्द, गांड का छेद चाटने से तुंरत चुदास से भर जाता है.
वही हाल किरण का हो रहा था, रेशमा की खुरदरी जुबान किरण की गांड को ऐसे चूस-चाट रही थी कि किरण फिर से सिसकारियां भरने लगी.
किरण- आअहह मादरचोद … क्या क्या करवाएगा मेरी बेटी से कुत्ते … आअह चाट बेटी … आज अपनी अम्मी की गांड भी चाट कर मजे ले ले मेरी गांड की कुतिया सालीई.
एक हाथ से मैंने अपने लौड़े को मसलते हुए रेशमा का मुँह किरण की गांड से हटाया और उसको मेरे लौड़े पर थूकने को कहा.
रेशमा ने भी अपने थूक से मेरे लौड़े को चिकना बना दिया. गांड का छेद और लंड का सुपारा दोनों रेशमा के थूक से चमक रहे थे.
किरण की चौड़ी गांड के छेद पर मैंने अपने लंड का सुपारा रखते हुए धीरे से दबा दिया.
मेरे लौड़े का सुपारा उसकी गांड के छेद के पहले छल्ले में फंस गया.
किरण की चूत जितनी ढीली थी, उससे कहीं ज्यादा तंग मुझे उसकी गांड लगी.
शायद पाटिल जी को गांड चुदाई में कम मजा आता होगा इसीलिए इस रंडी की गांड कम चुदी थी.
जैसे ही मेरे सुपारे ने उसकी गांड में प्रवेश किया, तो किरण की चीखें निकलने लगीं.
मुझे उन चीखों से मेरे मन में उठे सवाल का जवाब भी मिल गया कि सच में किरण की गांड मुश्किल से एक दो बार ही चुदी है.
मैंने भी खुश होते हुए अपना बदला पूरा करने के लिए लौड़े को थोड़ा सा पीछे करते हुए जोर का धक्का आगे की तरफ दे दिया.
इस बार लगभग आधे से ज्यादा लंड किरण की गांड के छेद को फाड़ता हुआ अन्दर घुस चुका था.
किरण- मम्मईई उफ्फ मालिक फाड़ दी बहन के लंड मेरी गांड फट गई … प्लीज़ निकाल लोओ मालिक.
मैं किरण की चिंता छोड़ कर बेरहमी से अपना समूचा लौड़ा उसकी गांड में घुसाता चला गया.
थूक से चिकना हुआ मेरा लौड़ा किरण की गांड को सरपट चीरने लगा.
उधर रेशमा ने किरण के चूतड़ फ़ैलाते हुए मेरे लंड के लिए अच्छी जगह बना दी और वो किरण को जानबूझकर गालियां देने लगी.
रेशमा- साली मादरचोद अम्मी जान, मुँह बंद कर हरामन कितना भी चिल्ला आज तू रंडी, आज मालिक का लौड़ा तेरी गांड की मां चोद कर ही रहेगा.
मैंने भी किरण की कमर थाम ली और जोर जोर से उसकी गांड मारने लगा.
रेशमा भी मुझे जगह देते हुए आगे की तरफ हो गयी और किरण के बाल खींचते हुए उसने उसके मुँह पर थूक दिया.
किरण को जोर जोर से थप्पड़ मारते हुए रेशमा ने उसका मुँह अपनी चूत पर दबाया और उसका मुँह अपनी चूत पर रगड़ने लगी.
रेशमा- तेरे मां का भोसड़ा साली, चूस अपनी लौंडिया का भोसड़ा रंडी, वीरू जी चोदो इस दो कौड़ी की रांड अम्मी को, इस मादरचोद का शौहर भी इसकी गांड देख कर आपसे चुदवाने आ जाएगा हिजड़ा कुत्ता साला.
रेशमा के मुँह से अश्लील गालियां सुनकर मेरा जोश और बढ़ गया.
मैंने एक हाथ किरण के पेट से नीचे ले जाते हुए अपनी चार उंगलियां किरण के फटे हुए भोसड़े में एक साथ घुसा दीं.
वो और जोर से चिल्लाने लगी.
मगर उसकी चिल्लपौं से बेखबर मेरी उंगलियां जोर जोर से किरण का भोसड़ा अन्दर से खोदने लगीं.
मेरे नाखूनों से किरण की चूत की दीवारें घायल होने लगीं और मेरे लौड़े से उसकी गांड का छेद भी चौड़ा होता रहा.
धीरे धीरे गांड ने भी लौड़े से दोस्ती कर ली और अब बिना किसी रूकावट लंड किरण की गांड से अन्दर बाहर होने लगा.
चूत में भरा हुआ पानी भी मेरा हाथ गीला करने लगा तो मुझे लगा कि किरण अब झड़ने के कगार पर है.
मैंने भी झट से अपना लौड़ा किरण की गांड से निकाला और उसे बिस्तर पर सीधा लिटा दिया.
दोनों पैर फ़ैलाकर किरण खुद चुदवाने को तड़पने लगी.
मैंने उसकी जांघों पर जोर से मारते हुए फिर से लौड़ा उसकी चूत में घुसा दिया.
मेरा लंड फटी हुई चूत में दनदनाता अन्दर घुसता चला गया और लंड का सुपारा अब बिल्कुल उसकी बच्चेदानी के मुँह को छू रहा था.
किरण ख़ुद भी अपनी कमर उठा उठा कर मेरे लौड़े से चुदने लगी.
रेशमा- देख साली अम्मी, तू कैसे ख़ुद गांड उठाकर चुद रही है कुतिया. पाटिल जी जरा देखिए न आपकी कुतिया कैसे सड़कछाप लावारिस रंडी की तरह मेरे मालिक का लौड़ा ले रही है.
पाटिल जी हंसने लगे.
कुछ ही देर में किरण फड़फड़ाने लगी- आहहह मम्मीइई मैं गईइइ … आह मालिक …
ये कहती हुई उसने अपनी चूत से फव्वारे छोड़ना शुरू कर दिए और मेरे लौड़े के साथ साथ मेरा पेट और नीचे का गद्दा भी भीगने लगा.
किरण का झड़ना और मेरा उसकी चूत को चोदना, एक साथ चल रहा था.
पूरी तरफ से किरण को झाड़ने के बाद मैंने वहीं लौड़ा निकाला और उसके मुँह के पास आ गया.
मैं- आ जा रंडी की अम्मी जान, देख कैसे तेरी चूत के पानी ने मेरा लौड़ा गंदा कर दिया, चल साली अब चूस चूस कर साफ कर दे कुतिया वर्ना अभी तेरे उस हिजड़े को अपना लौड़ा को चूसने बुलाता हूँ.
किरण झड़ने की वजह से थोड़ी थकी-थकी सी लग रही थी.
जब तक वो उठकर मेरा लौड़ा मुँह में लेती, तब तक रेशमा ने ही उसका सर उठाकर मेरे लौड़े पर दबा दिया.
किरण ने मुँह खोलकर अपनी चूत के रस से भीगा मेरा लौड़ा अपनी जुबान से चाटकर साफ कर दिया और फिर से आंखें बंद करके लेटने लगी.
मैंने उसको जोर से थप्पड़ मारते हुए कहा- अब कहां सो रही है बहनचोद, चल आ जा बैठ, मेरे लौड़े पर बहन की लौड़ी. आज मेरे लौड़े के पानी तू अपनी चूत में लेकर ही घर जाएगी हरामन साली.
किरण बेमन से धीरे धीरे मेरे ऊपर आने लगी.
मेरे लौड़े को अपनी मुट्ठी में भरके उसने जैसे ही अपनी चूत पर लगाया तो रेशमा ने उसके कंधे पकड़ कर उसे जोर से नीचे दबा दिया.
एक ही झटके में फिर से मेरा लौड़ा किरण की चुदी-चुदाई भोसड़ी में आर-पार घुस गया.
किरण भी अपनी कमर ऊपर नीचे करते हुए मेरे लौड़े पर कूदने लगी, सुपारा भी पूरे अन्दर तक घुसकर उसकी बच्चेदानी की चुम्मी ले रहा था.
रेशमा- वहां क्या कर रहा है पाटिल, देख तेरी इस रांड कुतिया की गांड तेरे लौड़े का इंतजार कर रही है. आ जा जल्दी कुत्ते और चढ़ जा मेरी अम्मी की गांड पर.
रेशमा की इस बात का मुझे बड़ा आश्चर्य हुआ कि वो मेरे क्लाइंट को ही गाली दे रही थी.
पाटिल जी भी दारू का गिलास ख़ाली करके हमारी तरफ बढ़े और उन्होंने रेशमा के बाल खींच कर अपना लंड रेशमा के सामने कर दिया.
पाटिल जी- तेरी मां की भोसड़ी कुतिया, चल गीला कर मेरा लौड़ा रंडी की पैदाइश, आज देख तेरे अम्मी की पाकीज़ा गांड कैसे खोल देता हूँ छिनाल.
रेशमा ने भी लौड़ा अपने हाथ में लेकर ऊपर थूक दिया और जोर जोर मुठ मारने लगी. मुँह में सुपारा भरके अपनी जीभ से सुपारा गीला करते हुए उसने झट से लौड़ा मुँह में भर लिया.
इधर मैं भी नीचे से कमर ऊपर करते हुए अपने लौड़े को किरण के भोसड़े में अन्दर तक पेल रहा था, पर मुझे किरण की उस ढीली चूत में जरा भी मजा नहीं आ रहा था.
मैंने अपना लौड़ा किरण की भोसड़ी से निकाला और वैसे ही उसको घूमने का इशारा किया.
किरण ने भी मेरी तरफ अपनी पीठ करते हुए अपने चूतड़ फ़ैला दिए.
गांड का छेद दिखते ही मैंने अपना लौड़ा उसकी गांड पर रखा और किरण के बाल खींचते हुए उसे नीचे की तरफ खींचा.
किरण- आअहह मालिक मादरचोद फाड़ ही दे तू मेरी गांड … कुत्ते उफ्फ् दर्द हो रहा है मालिक.
लौड़ा फिर से किरण की गांड की तंग गलियारे का मज़े लेने लगा.
गांड तंग होने के कारण लौड़े को अच्छे से पकड़ मिल रही थी और जैसे जैसे सुपारा गांड में रगड़ रहा था, वैसे वैसे फिर से लौड़ा फनफनाने लगा था.
उधर रेशमा पाटिल जी के लौड़े को अपनी जीभ से धार लगा रही थी और इधर मैं किरण की गांड को मेरे धारदार चाकू से काट रहा था.
कमरे में वासना का माहौल था.
चार नंगे बदन आग उगल रहे थे.
किरण की गांड का छेद भी अब थोड़ा खुलने लगा और मेरा लंड जोर जोर से उसकी गांड में सैर कर रहा था.
मैंने किरण के बाल खींच कर और उसके चूतड़ पीट पीट कर उसकी गांड मारना जारी रखा.
कुछ देर बाद पाटिल जी ने रेशमा को बिस्तर पर धकेला, तो रेशमा ने उनको रोकते हुए किरण की चुदाई करने का इशारा किया.
रेशमा- चलिए साहब, एक ही औरत का मजा लोगे क्या? देखो न इस दो कौड़ी की रंडी को … कैसे गांड मरवा रही है मादरचोद, चढ़ जा इस पर पाटिल, दिखा दे तेरे लौड़े में कितना दम है?
पाटिल जी को भी इस बात का बुरा नहीं लगा.
वो अब मेरी तरफ आकर खड़े हुए, तो मैंने मेरा लौड़ा किरण की गांड से बाहर निकाला और उनके लिए जगह बना दी.
किरण की गांड से निकला लंड मैंने उसके मुँह की तरफ जाकर उसके मुँह में ठूंस दिया.
मेरे लौड़े से चुदवा के किरण की गांड का छेद खुल चुका था और पाटिल जी ने उसी गांड में अपना मोटा लौड़ा घुसा दिया.
किरण को परेशानी तो हुई पर मेरा लौड़ा उसके मुँह में होने के कारण वो चिल्ला ना सकी.
पाटिल जी पीछे से और मैं आगे से किरण को लगातार चोद रहे थे.
रेशमा हम तीनों को देख कर किरण को बड़ी गन्दी गन्दी गालियां दे रही थी और अपना एक हाथ किरण की चूत पर ले जाकर उसको रगड़ रही थी.
मैंने अपना लौड़ा किरण के मुँह से निकाला और रेशमा को इशारा किया कि वो टांगें खोल कर लेट जाए.
रेशमा भी झट से उसी बिस्तर पर लेट गयी. मैंने उसको, कुतिया बनकर चुद रही किरण के नीचे लिटा दिया.
अब हाल ये था कि रेशमा और किरण एक दूसरे पर विपरीत दिशा में लेटी थीं.
किरण की चूत रेशमा के मुँह पर और रेशमा की किरण के मुँह के नीचे.
पाटिल जी का लौड़ा किरण की गांड में घुसा हुआ था और रेशमा ने झट से किरण की फटी हुई भोसड़ी मुँह में लेकर चूसना चालू कर दिया.
मैंने भी रेशमा की टांगें खोलकर एक ही झटके में मेरा लंड अन्दर पेल दिया.
दो-दो लौड़ों से चुदवा कर रेशमा की चूत भी अब काफ़ी खुल चुकी थी.
मेरा लंड भी अब बिना किसी दिक़्क़त के उसकी गीली चूत में सरपट दौड़ने लगा था.
मैं- साली मादरचोद रंडी की औलाद रेशमा, देख मां की लौड़ी कैसे तेरी नूरानी चूत खोलकर उसका भोसड़ा बना दिया बहनचोद, अब क्या मुँह लेकर जाएगी उस हिजड़े सलमान के पास कुतिया?
रेशमा किरण की चूत से अपना मुँह निकालती हुई बोली- अब मैं उस नामर्द कुत्ते के पास नहीं, मैं तो आपकी रखैल बन कर रहूंगी वीरू जी. मां की चूत उसकी … साला हिजड़े की औलाद.
मैंने भी पूरे जोर से रेशमा को चोदना चालू कर दिया.
किरण का मुँह एक हाथ से पकड़ पर मैंने रेशमा की चूत पर दबा दिया और उसने भी चुदती हुई चूत का दाना मुँह में लेकर चूसना चालू कर दिया.
दोनों रंडियां एक दूसरे की चूत चूसती हुई एक ही बिस्तर पर दो मर्दों से चुदवा रही थीं.
हमारे लौड़े भी गर्म गर्म छेदों में मजे से सैर करने लगे थे.
उन दोनों की ‘आहह उफ्फ्फ अम्म्मीईई आह मर गई …’ जैसी सिसकारियां पूरे कमरे को महका रही थीं.
रेशमा और किरण जानबूझ कर एक दूसरे को गालियां दे देकर अपनी चूत एक दूसरे से चुसवा रही थीं.
पूरी रात दोनों रंडियां सच में किसी बाजारू पैसे लेकर चुदनेवाली रंडियों की तरह चुदती रहीं.
कभी उनकी गांड, कभी चुत तो कभी मुँह बारी बारी से चुदते रहे और हमारे लौड़े उनके तीनों छेदों में वीर्य का रस भरते रहे.
वासना का ये हॉट Xxx सेक्स अगली रात तक चला, तब तक ना जाने रेशमा कितने बार चुदी, लेकिन होटल में वापिस आने के बाद उसकी भोसड़ी और गांड की हालत देखकर मुझे ऐसे लगा कि इसको दस बीस लोगों ने पटक पटक कर चोदा है.
एक दिन आराम करने के बाद हम लोग फिर से वापिस लौटकर आ गए.
रेशमा आज भी मेरे ऑफिस में काम करती है और महत्वपूर्ण बात ये है कि आज उसकी कोख में मेरा ही बच्चा पल रहा है.
‘उस नामर्द सलमान का नामर्द बच्चा पैदा करने से बेहतर तो तुम्हारे लौड़े से मर्द पैदा करूंगी.’
ये कहकर उसने ही मेरे बच्चे को पैदा करने की ठान ली थी.
आज भी वो किसी बाजारू रखैल की तरफ हर रोज मेरे लौड़े से अपनी गांड चुत चुदवाने आ जाती है. मेरी पर्सनल रखैल रेशमा मुझे भी बहुत पसंद आती है.
आपको मेरी हॉट Xxx सेक्स कहानी कैसी लगी, प्लीज़ मेल करें.
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