32 लंडों से चुद चुकी राबिया क़ुरैशी की हिन्दी सेक्स स्टोरी-3

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अचानक चार मुश्टण्डे से लड़के कमरे में घुस आये, मैं उन्हें देख कर बहुत डर गई, मेरे चेहरे पर हवाईयाँ उड़ने लगी गई।
सभी बॉडी बिल्डर और सिक्स पैक थे।

मैं बहुत घबरा गई पर नादिया टेंडाइ का लंड सहलाती हुई बोली- मैंने ही इन्हें बुलाया था। तू पूछ रही थी न कि मैंने टेंडाइ से क्या कहा था? देख आज 5 लंड से चुदने का मौका मिला है, ऐसा मौका बार-बार नहीं मिलने वाला!

मैं- तू पागल हो गई है क्या? हम दोनों एक साथ इतने लंड कैसे लेंगी?
नादिया- दोनों मिलकर ले लेंगीं न!
मैं- लेकिन मैं इन सबसे चूत गांड चुदवाना नहीं चाहती।
नादिया- देख मैंने भी पहले कभी इतने सारे लंड एक साथ नहीं लिये हैं। पर बहुत मज़ा आएगा।

इतना कहने के बाद वो टेंडाइ से बोली- अब तुम पाँचों के पाँच मुझ अकेली को ही चोदोगे, इसे कोई भी हाथ नहीं लगाएगा।

और टेंडाइ ने भी उसके दोस्तों से कह दिया, क्योंकि उसके दोस्तों को अंग्रेजी नहीं आती थी और उनकी भाषा भी कुछ अलग ही थी।

कुछ ही देर में सभी के सभी पूरे नंगे होकर नादिया के चारों तरफ खड़े हो गए, नादिया बड़े मज़े उन पाँचों के लंड बदल बदल कर चूस रही थी।
इतने सारे लंड अपनी सहेली के होंठों में घुसते देख मेरी चूत की खुजली भी बढ़ रही थी, और हिम्मत करके मैं भी उन पाँचों के बीच पहुंच गई, तभी नादिया और पाँचों ही हंस पड़े, नादिया ने हल्के हाथ से मेरे गाल पर एक थप्पड़ दिया, और बोली- अब पीछे मत हटना!

बस इतना सुनकर मैं भी उन अफ्रीकन के लंड चूसने लगी, एक लंड मुँह में और दूसरे लंड को हाथ से सहलाने में भी बहुत मज़ा आ रहा था।

तभी उसके दोस्त जॉन ने मुझे गोदी में उठाया और बिस्तर पर लेटा दिया और मेरी जांघों से खेलने लगा, उसे चूमने और चाटने भी लगा, तभी उसके तीनों दोस्त जेम्स, पीटर, क्रिस (बदले नाम क्योंकि उनके असली नाम बहुत ही अटपटे हैं, सिर्फ जॉन को छोड़कर क्योंकि वो भी उसका निकनेम है।) और टेंडाइ भी आ गया और मेरी जाँघों को सहलाने लगे उसे चाट भी रहे थे, और उसे चाट चाट कर गीली भी कर दिया था।

तभी क्रिस मेरे मम्मों को बहुत ही बुरी तरह से मसलने लगा, मुझे मज़ा आ रहा था मैं बस आअह उम्म्ह… अहह… हय… याह… आःह्ह की सिसकारी ले रही थी।
जब मैंने नादिया की तरफ देखा तो वो अकेली ही बैठी थी।

इसी बीच जेम्स ने मुझे किस करना शुरू कर दिया, उसके मोटे होंठों को चूसने में मुझे बहुत मज़ा आ रहा था। वो कुछ देर मुझे किस करके दूर हो गया तभी मैंने उसे पकड़ कर फिर से किस करना शुरू कर दिया।

सच में मैं तो पांच लंडों से निहाल हो गई थी, जन्नत की सैर कर करने लगी थी।
तभी नादिया ने मुझे और जेम्स को अलग किया और उसकी चूत को मेरे मुँह पर रख दिया, मैं उसकी चूत को चाटने लगी, वो भी मज़े से चूत चटवा रही थी और शायद किसी को किस भी कर रही थी क्योंकि उसके मुँह से पुछ्ह पुछ्ह्ह और उम्म्म उम्म्म की आवाज आ रही थी या फिर किसी का लंड चूस रही थी।

मैं बस मेरी गर्दन ही हिला कर उसकी चूत और उसकी चूत की खुली हुई फांकों को होंठों में दबा रही थी। नादिया दो बार मेरे मुँह में झड़ चुकी थी पर वो मेरे मुँह से उसकी चूत को नहीं हटा रही थी और मैं भी बहुत गर्म हो चुकी थी। अभी तक पाँचों ने मेरे मम्मों को भी मसल मसल कर उनका हाल बेहाल कर दिया था।

अब नादिया ने मेरे मुँह से उसकी चूत को हटाया तो मुझे थोड़ी राहत मिली, जब मैंने मेरे मम्मों की तरफ देखा तो वो पूरे लाल हो चुके थे और उनमें जलन भी बहुत हो रही थी पर कुछ मीठी भी जलन हो रही थी।

लेकिन उन्होंने मेरी जांघों को भी चाट चाट कर उनके थूक से गीला कर दिया था।

तभी पीटर ने अपना लंड मेरी तरफ कर दिया, मैं उसे चूसने लगी और दूसरे ने मेरी चूत को चाटना शुरू कर दिया, यही हाल नादिया का भी था, वो 3 लंड के साथ खेल रही थी।

मुझे एक साथ 2 लंड लेने का बहुत अनुभव है तो मुझे भी कोई तकलीफ नहीं हो रही थी।

थोड़ी देर पाँचों का लंड चूस और पाँचों ने मेरी चूत को भी थोड़ी देर चाटा पर जब सब्र नहीं हुई तो मैंने उनसे लंड डालने के लिये कहा।
तभी टेंडाइ मेरे पास आया, मेरी कमर के नीचे एक तकिया रख दिया और मेरी दोनों टांगों को उसके कन्धे पर रखकर उसके लंड को पहले तो हल्के हल्के मेरी चूत के मुँह पर रगड़ा, फिर धीरे धीरे पूरा लंड मेरी चूत में अंदर तक डाल दिया।
क्योंकि आकाश (मेरा बॉयफ्रेंड) का लंड भी इन अफ्रीकन लंड जितना मोटा है तो मुझे इसे अंदर लेने में कोई तकलीफ नहीं हुई और वैसे भी मेरी चूत तो पिछले 2 साल से उसके लंड को खा कर इसकी आदि हो चुकी है।

तभी टेंडाइ ने धक्कों की गति बहुत तेज कर दी और उसके धक्कों की गति के साथ मेरा मज़ा भी उतना बढ़ रहा था।

इधर नादिया भी उसकी चूत और गांड में एक साथ लंड लेकर चिल्ला चिल्ला कर मज़े से चुदवा रही थी। पर उसका मज़ा दर्द में बदलने लगा था उसके चेहरे से साफ़ दिख रहा था।

तभी टेंडाइ ने धक्के लगाना बन्द कर दिया, वो बिस्तर पर लेट गया, मुझे अपनी जांघों पर बैठा लिया और उसके लंड को मेरी चूत में पूरा अंदर तक डाल दिया।

तभी जेम्स आया, उसने मेरी गांड में लंड डाल दिया और दोनों एक साथ धक्के लगाने लगे। इतनी मोटाई के दो लंड मेरी चूत और गांड की दीवार को चीरते हुई अंदर बाहर हो थे।
मज़ा तो बहुत आ रहा था पर दर्द भी होने लगा था, और मैं एक बार झड़ भी चुकी थी।

तभी जेम्स ने धक्के लगाना बन्द कर दिया, उसकी जगह जॉन ने ले ली और वो दोनों साथ में धक्के लगाने लगे, पर जॉन कुछ ज़्यादा ही बेरहमी से धक्के लगा रहा था और मेरे चूतड़ों पर भी मार रहा था, पर मज़ा भी तो उतना आ रहा था।

टेंडाइ ने नीचे से धक्के लगाना बन्द कर दिया पर जॉन अभी भी धक्के लगा रहा था।
कुछ देर बाद दोनों ने ही लंड को मेरी चूत और गांड से निकाला और मैं उनका लंड चूसने लगी। लंड चूसते हुए नादिया की तरफ देखने लगी वो भी मज़े से चुदवा रही थी।

तभी पीटर, क्रिस और जेम्स जो नादिया को चोद रहे थे, मेरे पास आ गए और टेंडाइ और जॉन नादिया के पास चले गए।
पहले तो मैंने तीनों का लंड चूसा और तभी क्रिस नादिया के पास पहुंच गया और उसे लंड चुसवाने लगा, नादिया भी मज़े से चिल्ला चिल्ला कर चुदवा रही थी।

कुछ देर बाद पीटर और जेम्स ने भी मेरी चूत और गांड का स्वाद चखा और दोनों धक्के लगाने लगे, जेम्स का लंड मेरी गांड में था और पीटर का लंड मेरी चूत में।

पर इन दोनों के लंड टेंडाइ और जॉन की अपेक्षा कुछ ज़्यादा ही कड़क थे। दोनों धक्के लगा रहे थे, तभी जेम्स ने मेरे दोनों हाथों को पकड़ लिया और धक्कों की गति अचानक ही बढ़ा दी पहले तो मुझे मज़ा आ रहा था पर बाद में दर्द होने लगा, उन्होंने किसी राजधानी एक्सप्रेस गाड़ी की तरह उनके धक्कों की गति तेज़ कर दी।

मुझे तो अब मज़े तो आ रहे थे पर दर्द भी बहुत हो रहा था, दर्द इतना असहनीय हो रहा था कि मैं उन्हें हिंदी में ही गाली देने लगी थी- छोड़ो मादरचोदों मुझे बहुत दर्द हो रहा है, छोड़ बहनचोद!
दर्द से मेरा हाल बेहाल हो चुका था और दर्द से आंसू भी निकलने लगे थे, मैं जितना चिल्लाती दोनों उतनी ही तेज गति से मुझे चोदते।
मैं इतनी देर में दूसरी बार झड़ चुकी थी, तभी उन्होंने धक्के लगाना बन्द कर दिया और उनके लंड को बाहर निकाल लिये तो मुझे थोड़ी राहत मिली, पर सिर्फ एक पल ही की।
अब दोनों ने ही जगह बदल ली, पीटर का लंड मेरी में था और जेम्स का लंड मेरी गांड में।

इस बार भी वही हाल हुआ लेकिन इस बार मेरी चीख ज़्यादा नहीं निकल पाई क्योंकि इस बार क्रिस आ गया था और उसने लंड को मेरे मुँह में डाल दिया था।

अब मेरे एक साथ तीन छेद चुद रहे थे, मैं भी मेरा सारा दर्द भूल गई और उनसे चुदवाने लगी।मुझे और नादिया को चुदते हुए आधा घण्टा हो चुका था, मैं 3 बार झड़ चुकी थी, पर ये पाँचों पता नहीं क्या खाकर आये थे कि न तो थकने का नाम ले रहे थे और न ही झड़ने का!
पर मैं भी नहीं चाहती थी कि ये सब झड़ें।

तभी क्रिस ने लंड को मेरे मुँह से निकाला और जेम्स की जगह मेरी गांड को चोदने लगा और जेम्स मेरे मुँह को चोदने लगा।
कुछ देर बाद पीटर और जॉन भी आ गए और उन्होंने उनके लंड को मेरे हाथों में पकड़ा दिया, मैं अंदर ही अंदर एक अलग ख़ुशी का अनुभव कर रही थी सच में एक साथ 5 लंड से चुदने का मज़ा जो मैंने कभी सपने में भी नहीं सोचा था।

तभी नादिया भी बोली- देख कितना मज़ा आ रहा है, तू बेवजह ही डर रही थी। अब तो डर नहीं लग रहा है न?
पर मेरा मुँह भी चुद रहा था तो कुछ बोल नहीं पा रही थी।

तभी पीटर और जेम्स ने लंड को बाहर निकाला और नादिया के मुँह में डाल दिया और वो भी दोनों लंडों को पागलों की तरह चूसने लगी, इधर क्रिस और टेंडाइ मेरी चूत और गांड को चोदने में व्यस्त हो गए और नादिया भी चुदने में व्यस्त हो गई।

चुदते चुदते एक घण्टा होने को आया था, मैं बहुत तक चुकी थी और मेरी चूत और गांड भी अब लंड झेलने की हालत में नहीं थी पर पता नहीं क्यों ये पाँचों तो झड़ने का नाम भी नहीं ले रहे थे, मेरी चूत और गांड अब सुन्न हो चुकी थी, चूत ने तो 5 बार पानी छोड़ दिया था और छटी बार पानी छोड़ने वाली थी।

मैं अब इनके लंड की चुदाई को सह नहीं पा रही थी पर मुझे जितनी भी हिम्मत मिल रही थी वो सब नादिया को चुदते हुए देखकर मिल रही थी।
पर नादिया भी अब चुदते हुए पस्त हो गई थी।

और जब मेरी चूत ने छटी बार पानी छोड़ा तो इनका शरीर भी अकड़ने लगा और हम दोनों को बहुत ही ख़ुशी मिली।
तभी नादिया ने टेंडाइ से कहा कि- पाँचों वीर्य को मेरे मुँह में ही डालो, और कहीं नहीं!

टेंडाइ ने उसकी भाषा में उन्हें कहा, पाँचों ने तेजी से लंड को हिलाना शुरू कर दिया और मैं भी नादिया के पास ही बैठ गई।
उसका मुँह तो सिर्फ तीन लंड के वीर्य से ही भर गया था, तभी उसने मेरे बालों को खींचकर ऊँगली से मेरे मुँह में डालने का इशारा किया, मैं मना करती रही पर नादिया के सामने मेरी एक भी नहीं चली, और बाकी दोनों ने मेरे मुँह में उनका वीर्य डाल दिया।

उनके वीर्य सच में बहुत ही गाढ़े थे जैसा कि मैं अब तक सुना था पर आज वो सच भी हो गया।
अब तक मैंने सिर्फ रफ़ीक़ भाईजान और दिनेश भाईजान (जिन्होंने मेरी सील तोड़ी थी) और सिर्फ नादिया का ही वीर्य पिया है।

जब दोनों ने वीर्य पूरा मेरे मुँह में डाल दिया तभी नादिया ने मुझे किस करना शुरू कर दिया, वीर्य तो पहले ही निगल चुकी थी और अब मेरे मुँह से वीर्य निकाल कर पी रही थी।
उसे किस करते गए कुछ वीर्य मेरे मुँह से बाहर निकल गया और वो तो मुझे पागलों की तरह किस करने लगी थी।
यह हरकत देखकर पाँचों भी हंसने लगे।

जब टाइम देखा तो सिर्फ 11 ही बज रहे थे, नादिया ने जॉन से कुछ खाने के लिये कहा, वो नाश्ता लेने बाहर चला गया।
टेंडाइ के अलावा सिर्फ जॉन ही थोड़ी अंग्रेजी बोल सकता है और समझ सकता है।

हम दोनों बाथरूम में मुँह धोने चली गई, मैं बहुत थक चुकी थी और चूत गांड भी दर्द कर रही थी।

कहानी जारी रहेगी।
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